जिला मुख्यालय के समीपी गांव उपनी में बिना मुआवजा दिये पीडब्ल्यूडी विभाग के ठेकेदार द्वारा जबरजस्ती सड़क निर्माण का मामला सामने आया है जहां मना करने पर पीड़ितों के साथ मारपीट भी की गई है जिसको लेकर शिकायती पत्र कोतवाली में देकर कार्रवाई की गुहार लगाई गई है।
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फरियादी शिवनाराण तिवारी ने बताया गया कि 13 अगस्त को शायं 5 बजे मेरे कब्जे पट्टे की जमीन ग्राम उपनी में ठेकेदार अनिल सिंह द्वारा जबरजस्ती मेरी जमीन पर रोड बनवाई जा रही थी मैं जाकर मना किया तो ठेकेदार बोले की यह शासकीय आदेश है रोड यही से बनेगी जब रोड बनवाने का आदेशमांगा तो वह नही दिखाये और कहने लगे कि रोड यही से बनेगी इतना कहते ही उनके साथ में लोकपाल सिंह मुझे डंडा से तथा सुरेश सिंह हांथ मुक्का से मारपीट कर अपमानित किया गया। जबकि इसके पूर्व भी उनकी कृषि भूमि पर रात में ठेकेदार द्वारा जबरन मिट्टी
डलवाई गई है तथा सड़क का निर्माण कराया जा रहा है जबकि उक्त निर्माण की ना तो उन्हें किसी तरह की सूचना दी गई है और ना ही सहमति प्राप्त की गई है। ग्रामीणों ने बताया कि इस संबंध में जब ठेकेदार से चर्चा की गई तो उन्होंने सरहंगता पूर्वक सड़क का निर्माणकार्य जारी रखने की बात कही है। सवाल यह उठता है कि एक ओर सरकार यह कहते हुए नहीं थकती है कि किसानो की जमीन उनकी सहमति के बगैर अधिग्रहित नहीं की जाएगी लेकिन सीधी जिले में तो उलट ही गंगा बहाई जा रही है। किसानों की सहमति लेना तो दूर की बात रही भू-अर्जन के पूर्व किसी भी तरह की सूचना भी नहीं दी गई है फिर भी लोक निर्माण विभाग द्वारा कृषि कार्य की भूमि पर जबरन सड़क का निर्माण कराया जा रहा है। पीड़ितों ने प्रशासन से न्याय की गुहार लगाते हुए सड़क निर्माण कार्य बंद किए जाने की मांग की थी लेकिन किसी भी प्रकार की कार्रवाई करने की जरूरत जिला प्रशासन द्वारा नही समझी गई है।