CID की जांच हुई पूरी : टी सहित आठ पुलिसकर्मियों को मिली क्लीन चिट जाने पूरा मामला।
बहुचर्चित रॉकी हत्या कांड में TI सहित 8 पुलिस कर्मियो पर लगा था हत्या का आरोप. घटना के 7 साल बाद CID ने लगाया खात्मा.
रीवा जिले के सिटी कोतवाली के थाना क्षेत्र में हुए बहुचर्चित अतीक खान उर्फ रॉकी हत्या कांड के मामले पर CID की टीम ने मामले की जाँच को करते हुए घटना के 7 साल बाद जांच की इस रिपोर्ट को न्यायालय को सौंप दी।
जहा यह बताया गया है की मामले मे आरोपी बनाए गए सिटी कोतवाली टी आई शैलेंद्र भार्गव समेत 8 पुलिस कर्मियो पर हत्या के आरोप लगाए गए थे। जहा इसके बाद शहर में बवाल मच गया था गुस्साई भीड़ ने पोस्टमार्टम के बाद शव को अस्पताल चौराहे पर रखकर जमकर बवाल किया गया था। जिसके बाद पुलिस कर्मियो पर अपराध भी दर्ज किया गया था. जहा घटना के बाद मामले की जांच CID को सौंपी गई. घटना के 7 साल बाद मामले के जांच पूरी करते हुए CID ने आरोपी बनाए गए सभी कर्मियो को क्लीन पाया और मामले की जांच की रिपोर्ट को न्यायालय के समक्ष पेश कर दी है।
यह था रॉकी हत्या कांड का पूरा मामला
दरअसल यह पूरा मामला 7 साल पहले का है 13 जनवरी 2016 का है. जिले के सिटी कोतवाली थाना क्षेत्र स्थित गुढहाई बाजार निवासी सुल्ताना मंसूरी को उसके पति के द्वारा तलाक दे दिया गया था. वही अब इसके बाद वह अपने छोटे छोटे बच्चों के साथ अपने पति के मकान में रहती थी. जहा सुल्ताना मंसूरी ने अपने पति के खिलाफ तलाक का प्रकरण दर्ज भी करवाया था. वही महिला के पति की यह मंशा थी के उसकी पत्नी किसी तरह मकान को खाली करके चली जाए और उस मकान में वह कब्जा कर ले. जहा महिला के पति ने अपना मकान सिटी कोतवाली थाना क्षेत्र स्थित घोघर निवासी अतीक खान उर्फ रॉकी की पत्नी सूफिया और उनकी पार्टनर रंजना सिंह को बेचा था उस मकान की रजिस्ट्री इन दोनों के नाम से कराई गई थी.
13 फरवरी सन 2016 को एक मकान में कब्जा करने गया था रॉकी
वही मिली जानकारी के अनुसार अब 13 फरवरी 2016 की शाम 5 बजे अतीक खान अपने साथियों के साथ मकान में कब्जा करने के लिए गुडहाई बाजार पहुंचा था और महिला के मकान से अब उसका सामान निकाल कर बाहर फेंकने लगा है। जहा अब उस दौरान घर के बाहर फेकी गए समाग्री की लूटपाट भी हुई थी.
वही अब इसके बाद सीटी कोतवाली के तत्कालीन थाना प्रभारी शैलेंद्र भार्गव को घटना की सुचना प्राप्त हुइ थी तब थाना प्रभारी पुलिस टीम के साथ तत्काल मौके पर पहुंचे हुए थे। जहा अब पुलिस टीम ने मामले को शांत कराने का प्रयास किया लेकिन जब ममाला नही सुलझा तो पुलिस टीम को हल्का बल का प्रयोग करना पड़ा मामला इसके बाद भी शांत नही हुआ पुलिस ने रॉकी की पिटाई की थी। वही अब इसका वीडियो किसी व्यक्ति के द्वारा अपने मोबाईल कैमरे के कैद कर लिया था और फिर बाद में वह विडियो सोशल मीडिया में वायरल हुआ था.
Cid के डीएसपी ने दी पूरे घटना क्रम की जानकारी
आपको बतादे की रीवा DSP सीआईडी असलम खान ने बताया की अतीक उर्फ रॉकी खान अपने वार्ड का भूतपूर्व पार्षद था और उस दौरान वर्तमान में रॉकी की पत्नि वार्ड की पार्षद थी. जहा अब इस घटना के बाद रॉकी को गिरफ्तार करके पुलिस की टीम जब सिटी कोतवाली थाना ले गई तो थाने के बाहर काफी लोग जमा हो गए इस दौरान रॉकी ने खुद के बीमारी की जानकारी पुलिस को दी इसके बाद उसे दवाइयां दी गई और फिर मेडीकल चेकअप के लिए संजय गांधी अस्ताल मे अब ले जाया गया था।
जहा अब उसे सीने में दर्दे था जिसका इलाज असपताल में कराया गया लेकिन 14 फरवरी की रात इलाज के दौरान अतीक की मौत हो गई थी. वही अब इसके बाद पुलिस के द्वारा अतीक के साथ की गई मारपीट की घटना से लोग उग्र हो गए और अस्पताल में तोड़ फोड़ की इसके बाद देर रात घोघर मोहल्ले में पुलिस के कई वाहनों को आग के हवाले कर दिया था.
रॉकी के मौत के बाद उस समय जमकर हुआ था बवाल
जहा अब उसके बाद मामला यहीं नहीं थमा 15 फरवरी 2016 की सुबह शहर भर में पुलिस बल की तैनाती की गई और मृतक अतीक खान रॉकी का पोस्टमार्टम करवाया गया था। वही अब पीएम उपरांत शव परिजनों को सौंप दिया गया था। जहा अब परिजन और घटना से गुस्साई भीड़ अस्पताल चौराहे में शव रखकर चक्काजाम करते हुए बवाल करना शुरु कर दिया था और पुलिस के गाड़ियों में तोड़फोड़ कर दी जिसके बाद अब आईपीसी की धारा 144 लगाई गई.
जहा अब उनकी मांग थी की दोषी पुलिस कर्मियो के विरुद्ध हत्या का मामला दर्ज किया जाए जबतक एसा नही होगा वह शव को वहां से लेकर नही जाएंगे. वही अब इस मामले पर अतीक खान के परिजनों ने शिकायत दर्ज कराई थी उनका आरोप था कि अतीक खान के साथ मारपीट की गई इसके बाद थाने ले जाया गया और वहां उसकी हत्या कर दी गई.
मृतक रॉकी के पीएम रिपोर्ट में मिले थे 22 चोट के निशान
वही अब सीआईडी डीएसपी असलम खान ने बताया कि परिजनों के द्वारा दर्ज कराई गई एफआईआर के अनुसार घटना एसी नही थी. अस्पताल परिसर से सीसीटीवी फुटेज प्राप्त किए गए थे जिसमे पुलिस अतीक का मेडिकल कराने के लिए अस्पताल लेकर गई थी और उस फुटेज में अतीक पैदल जाते हुए दिखाई दे रहा था. अतीक खान का संजयगांधी अस्पताल में जो इलाज कराया गया वह हार्ड का था मारपीट का नहीं था. जहा अब एमएलसी रिपोर्ट में डॉक्टरों ने मारपीट की कोई टिपण्णी नही की थी.वही अब रॉकी की मौत के बाद जब उसका पीएम कराया गया तो उसकी रिपोर्ट में 22 चोटों का जिक्र था.
TI सहित 8 पुलिसकर्मियों के विरुद्ध 302 का मुकदमा हुआ था कायम
अब इसके बाद जब मामले की जुडिशियल इन्क्वायरी हुई और 8 पुलिसकर्मियो के विरुद्ध 302 का मुकदमा पंजीबद्ध किया गया. वही तत्कालीन सिटी कोतवाली थाना प्रभारी शैलेंद्र भार्गव समेत 8 पुलिसकर्मी आरोपी बनाए गए. जहा अब इसके बाद मामले की जांच CID को सौंपी गई.जहा अब विवेचना चलती रही और मामले की ज्यूडिशियल इनक्वायरी भी चलती गई. वही अब ज्यूडिशियल इनक्वायरी का क्षेत्रअधिकार अलग चल रह था जिसमे सीजीएम के द्वारा जांच की जा रही थी और ममाले की विवेचना CID कर रही थी.
वही अब बाद में CID ने शुरू की थी घटना की जांच
जहा इसके बाद CID डीएसपी असलम खान ने बताया की 2017 में मामले की जांच उनके द्वारा शुरु की गई थी विवेचना के दौरान पाया गया की जांच में जो भी साक्ष्य आए उसमे धारा 302 हटाई गई और 323,294,506, 34 का अपराध पाया गया. वही अब विवेचना में यह पाया गया की हत्या का कारण मारपीट नही है.
जहा अब पूरे मामले की विवेचना करते हुए सिद्ध किया गया कि घटना स्थल पर अतीक के साथ मारपीट की गई थी. मारपीट में हत्या के आरोपी बने पुलिस कर्मी शासकीय कर्मचारी थे और एक जघन्य अपराध को रोकने के लिए कर्तव्य पालन पर मौके पर में गए थे.
रॉकी के विरुद्ध पूर्व से दर्ज है कई प्रकरण
इतना ही नहीं अब डीएसपी ने बताया की अतीक उर्फ रॉकी के विरुद्ध पूर्व से 15 से 20 अपराध पहले से दर्ज थे इस घटना दिनाक के दिन पुलिस उसे पकड़ने गई थी। जहा अब उसी दौरान पुलिस कर्मियो के द्वारा मारपीट की गई थी। जहा मारपीट की धाराएं पुलिस कर्मियो पर लगाई गई थी उन आरोपों पर चार्जशीट करने के लिए गवर्मेंट से परमिशन मांगी गई लेकिन शासन ने परमीशन देने से इनकार कर दिया था और अतीक के साथ की गई मारपीट को नाजायज न ठहराते हुए कहा गया की अपराधी के साथ कार्रवाई के समय अधिकृत बल का प्रयोग करना बताया और अभियोजन स्वीकृति देने से इनकार कर दिया.
सरकार से नही मिली अनुमति तो CID ने लगाया खात्मा कोर्ट को सौंपी रिपोर्ट
जहा अब आप डीएसपी ने बताया की चार्जशीट करने की अनुमति गवरमेंट से नही मिली इस लिए इस प्रकरण में CID के द्वारा आज दिनांक 18 जनवरी 2023 को सिटी कोतवाली में ममाले का खात्मा चार्ज करके उस खात्मे को सीजीएम कोर्ट में प्रस्तुत किया गया है. वही अब इस मामले का न्याय सीजीएम कोर्ट से होगा. कोर्ट में खात्मा प्रस्तुत करने के पूर्व इसकी सूचना मृतक अतीक खान उर्फ रॉकी के पिता रफीक रिवानी को विधिवत दी गई है.
ये 8 पुलिस कर्मी बने थे रॉकी हत्या कांड के आरोपी
1.शैलेंद्र भार्गव तत्कालीन थाना प्रभारी सिटी कोतवाली 2.श्याम नारायण सिंह उप निरीक्षक
3.रामेंद्र शुक्ल उप निरीक्षक
4.पीएन दाहिया सहायक उप निरीक्षक
5.महेंद्र पाण्डेय प्रधान आरक्षक
6.जय सिंह अराक्षक
7.तनय तिवारी आरक्षक
8.जितेंद्र सेन आरक्षक